ज्योतिषीय उपायों के पीछे छुपा विज्ञान...1
दोस्तों आजकल अक्सर देखते हैं कि ज्योतिषी लोग से तरह-तरह के उपाय करवाते हैं। तंत्र, मंत्र, यंत्र, रत्न का उपाय तो आम तौर पर होता ही हैं, पर उसके बावजूत हाथी-दांत धारण करने का उपाय, सूअर के दांत का उपाय, शेर का नाखून, लोमड़ी की पूँछ, बिल्ली की पूँछ, घोड़े की नाल, हत्था जोड़ी, नदी में कोयले बहाना, सिक्के बहाना इत्यादि ऐसे-वैसे हजारों तरह के उपाय बताये जाते हैं।
दोस्तों सच माने तो उपायों के पीछे छूपे विज्ञान का ज्ञान स्वयं उस ज्योतिषी को भी नही होता, बस किताब में लिखा ज्ञान पढ़कर बता दिया जाता हैं। पर ऐसा भी नही हैं कि सभी ज्योतिषी ऐसे ही हैं, अनुभवी ज्योतिषियों की भी कमी नही, पर कलयुग के चलते पाखंडी ज्योतिषियों और गुरुओं का प्रचलन आजकल कुछ ज्यादा ही बढ़ गया हैं।
पर चलो जो भी हो रहा हैं वो अपनी जगह सही भी हैं। सभी लोग अपना-अपना अभिनय अदा कर रहे हैं। सारा का सारा सिस्टम के अनुसार ही हो रहा हैं। जहाँ तक मैं समझता हूँ कि जब तक जातक का समय सही नही आता या उसका अहंकार नही मिटता तब तक वह ऐसे पाखंडी ज्योतिषीयों के सम्पर्क में आता हैं और उनमें अपना समय और पैसा खर्च करता हैं। पर जब उसका समय अच्छा आता हैं या बुरे समय के बावजूत उसमे अहंकार समाप्त होकर समर्पण का भाव आ जाता हैं तब वह जातक किसी अनुभवी ज्योतिषी के पास पहुँचकर मार्गदर्शन प्राप्त कर अपना उद्धार करता हैं। दोस्तों ज्योतिषी तो मात्र निमित्त बनता हैं, पर जातक का कल्याण तो स्वयं उसके भावों से ही सम्भव होता हैं। जो जैसे भाव से समाधान चाहता हैं वो वैसे ही ज्योतिषी के पास वह पहुँच जाता हैं।
वैसे मैं बात कर रहा था उपायों के पीछे छुपे उसके विज्ञान की।
दोस्तों ज्योतिष ईत्यादि शास्त्रों में बताये गये सभी उपायों के पीछे कोई न कोई विज्ञान काम कर रहा होता हैं, संसार में चमत्कार नाम की कोई चीज नही। बस जिसे विज्ञान का पता होता हैं उसे लोग चमत्कारी कहते हैं। दोस्तों समस्त ब्रहमांड एक ही शक्ति से संचालित हो रहा है, और वो शक्ति हैं "परमात्मा"। और परमात्मा ही "ऊर्जा" के रूप में सम्पूर्ण ब्रम्हांड में व्याप्त है। ब्रहमांड की ये शक्ति ब्रम्हांड के हर कण, वनस्पति, जल, जीव और वायु में भी व्याप्त है। एक ज्योतिषी उपायों में ब्रम्हांड के इन पदार्थो की उर्जा के साथ मानसिक उर्जा, वातावरण की उर्जा और ध्वनी की उर्जा आदि का विशेष संयोजन कर जातक को श्रेष्ठ परिणामों तक पँहुचाता हैं।
दोस्तों ब्रम्हांड का हर पदार्थ अपने में उस परमात्मा की ऊर्जा समाये रहता हैं। और उपायों में पदार्थो इत्यादि में समाहित उसी ऊर्जा के विज्ञान को समझकर प्रयोग किया जाता हैं। मैं आपको कुछ उपाय और उनके पीछे छूपा विज्ञान बताऊँगा, फिर धीरे-धीरे आपको सभी उपायों के पीछे छुपा विज्ञान समझ में आ जायेगा। और इस विज्ञान के समझ लेने के बाद निश्चित ही आप अपने जीवन में बहुत परिवर्तन करने में सक्षम हो जायेंगे।
इन्तजार कीजिये अगले पार्ट का...
राधे-राधे...
दोस्तों आजकल अक्सर देखते हैं कि ज्योतिषी लोग से तरह-तरह के उपाय करवाते हैं। तंत्र, मंत्र, यंत्र, रत्न का उपाय तो आम तौर पर होता ही हैं, पर उसके बावजूत हाथी-दांत धारण करने का उपाय, सूअर के दांत का उपाय, शेर का नाखून, लोमड़ी की पूँछ, बिल्ली की पूँछ, घोड़े की नाल, हत्था जोड़ी, नदी में कोयले बहाना, सिक्के बहाना इत्यादि ऐसे-वैसे हजारों तरह के उपाय बताये जाते हैं।
दोस्तों सच माने तो उपायों के पीछे छूपे विज्ञान का ज्ञान स्वयं उस ज्योतिषी को भी नही होता, बस किताब में लिखा ज्ञान पढ़कर बता दिया जाता हैं। पर ऐसा भी नही हैं कि सभी ज्योतिषी ऐसे ही हैं, अनुभवी ज्योतिषियों की भी कमी नही, पर कलयुग के चलते पाखंडी ज्योतिषियों और गुरुओं का प्रचलन आजकल कुछ ज्यादा ही बढ़ गया हैं।
पर चलो जो भी हो रहा हैं वो अपनी जगह सही भी हैं। सभी लोग अपना-अपना अभिनय अदा कर रहे हैं। सारा का सारा सिस्टम के अनुसार ही हो रहा हैं। जहाँ तक मैं समझता हूँ कि जब तक जातक का समय सही नही आता या उसका अहंकार नही मिटता तब तक वह ऐसे पाखंडी ज्योतिषीयों के सम्पर्क में आता हैं और उनमें अपना समय और पैसा खर्च करता हैं। पर जब उसका समय अच्छा आता हैं या बुरे समय के बावजूत उसमे अहंकार समाप्त होकर समर्पण का भाव आ जाता हैं तब वह जातक किसी अनुभवी ज्योतिषी के पास पहुँचकर मार्गदर्शन प्राप्त कर अपना उद्धार करता हैं। दोस्तों ज्योतिषी तो मात्र निमित्त बनता हैं, पर जातक का कल्याण तो स्वयं उसके भावों से ही सम्भव होता हैं। जो जैसे भाव से समाधान चाहता हैं वो वैसे ही ज्योतिषी के पास वह पहुँच जाता हैं।
वैसे मैं बात कर रहा था उपायों के पीछे छुपे उसके विज्ञान की।
दोस्तों ज्योतिष ईत्यादि शास्त्रों में बताये गये सभी उपायों के पीछे कोई न कोई विज्ञान काम कर रहा होता हैं, संसार में चमत्कार नाम की कोई चीज नही। बस जिसे विज्ञान का पता होता हैं उसे लोग चमत्कारी कहते हैं। दोस्तों समस्त ब्रहमांड एक ही शक्ति से संचालित हो रहा है, और वो शक्ति हैं "परमात्मा"। और परमात्मा ही "ऊर्जा" के रूप में सम्पूर्ण ब्रम्हांड में व्याप्त है। ब्रहमांड की ये शक्ति ब्रम्हांड के हर कण, वनस्पति, जल, जीव और वायु में भी व्याप्त है। एक ज्योतिषी उपायों में ब्रम्हांड के इन पदार्थो की उर्जा के साथ मानसिक उर्जा, वातावरण की उर्जा और ध्वनी की उर्जा आदि का विशेष संयोजन कर जातक को श्रेष्ठ परिणामों तक पँहुचाता हैं।
दोस्तों ब्रम्हांड का हर पदार्थ अपने में उस परमात्मा की ऊर्जा समाये रहता हैं। और उपायों में पदार्थो इत्यादि में समाहित उसी ऊर्जा के विज्ञान को समझकर प्रयोग किया जाता हैं। मैं आपको कुछ उपाय और उनके पीछे छूपा विज्ञान बताऊँगा, फिर धीरे-धीरे आपको सभी उपायों के पीछे छुपा विज्ञान समझ में आ जायेगा। और इस विज्ञान के समझ लेने के बाद निश्चित ही आप अपने जीवन में बहुत परिवर्तन करने में सक्षम हो जायेंगे।
इन्तजार कीजिये अगले पार्ट का...
राधे-राधे...